उन्होंने बताया कि विश्राम घाट में आजकल रोजाना करीब छह से सात लोग अपने परिजन की अस्थियां ले जाने के लिए रात को ठहरते हैं। शर्मा ने बताया, ‘‘विश्राम घाट को एक डबल डोर रेफ्रिजरेटर भी किसी ने दान दिया है। दूसरे जिलों से आये ठहरे इन जरूरतमंद लोगों की मदद करने के लिए हमें भोजन सामग्री एवं पानी की बोतलें निरंतर दान में मिल रही हैं।’’ उन्होंने बताया कि रात को रुकने वालों के लिए कुछ बिस्तरों का भी इंतजाम किया गया है। शर्मा ने बताया कि शुक्रवार को विश्राम घाट में 60 शवों का अंतिम संस्कार किया गया। इनमें से 54 कोविड-19 से मरे थे, जिनमें 38 भोपाल जिले के थे, जबकि 16 अन्य जिलों के थे।