By अजय कुमार | Mar 26, 2024
लखनऊ। बीजेपी के फायर ब्रांड नेता वरुण गांधी पीलीभीत सीट से टिकट कटना किसी को भी अप्रत्याशित नहीं लग रहा है। जिस तरह से वह मोदी और पार्टी के खिलाफ मुखर थे, उसका यह अंजाम स्वभाविक था। टिकट करने के बाद भी अभी वरुण गांधी बीजेपी के नेता है उन्होंने पार्टी नहीं छोड़ी है, फिर भी उनके लिए कयास लगाये जा रहे हैं कि वह इंडी गठबंधन के प्रत्याशी हो सकते हैं। अमेठी से भी उनके चुनाव लड़ने की चर्चा सकते है। लंबे समय से वरुण गांधी के टिकट को लेकर चल रही रस्साकशी खत्म होने के बाद अब कयास इस बात के लगाये जा रहे हैं कि अब वरुण गांधी क्या निर्णय लेंगे, इस पर सबकी नजर है। क्योंकि नामांकन के लिए सिर्फ एक दिन का तक का समय बचा है। पीलीभीत में पहले चरण के तहत 19 अप्रैल को मतदान है। 27 मार्च नामांकन पत्र जमा करने का अंतिम दिन है।
पीलीभीत लोकसभा सीट पिछले चार चुनावों से भाजपा के कब्जे में है। मौजूदा समय में वरुण गांधी इस सीट से सांसद हैं। वरुण गांधी लंबे समय से पार्टी की नीतियों को लेकर मुखर रहे हैं। उनके बयानों पर खूब चर्चा हुई। हालांकि कुछ समय पूर्व से उनके बयानों में नरमी आई थी, लेकिन तब तक उनके टिकट को लेकर अटकलों का दौर शुरू हो गया। वरुण गांधी का टिकट कटने के बाद नई चर्चाओं ने जोर पकड़ लिया है। वरुण गांधी किसी ओर पार्टी में जाएंगे। क्योंकि नामांकन के पहले दिन वरुण गांधी के प्रतिनिधि ने भी नामांकन पत्र खरीदे थे, जो अब चर्चा में हैं।
अब कयास लगाए जा रहे हैं कि क्या वरुण गांधी कांग्रेस का 'हाथ' पकड़ेंगे या फिर साइकिल की सवारी करेंगे। सपा में जाने की संभावनाएं प्रबल इसलिए भी हो गई हैं कि सपा के पीलीभीत लोकसभा सीट से घोषित प्रत्याशी पूर्व राज्यमंत्री भगवत सरन गंगवार का चौंकाने वाला वीडियो सामने आया था। इसमें वह मीडिया से बात करते हुए भाजपा नेता वरुण गांधी को लेकर काफी भावात्मक नजर आए। उन्होंने कहा कि वरुण गांधी बड़े नेता हैं।
अगर सपा मुखिया उन्हें पीलीभीत से चुनाव लड़ाना चाहेंगे तो वह बिना किसी से कुछ कहे अपनी दावेदारी छोड़ देंगे। हालांकि बयान वायरल होने के कुछ देर बाद भगवत सरन ने वीडियो में कही जा रही बात से इनकार कर दिया। कहा कि, उन्होंने ऐसा कुछ नहीं कहा। वरुण गांधी का टिकट कटने के बाद अब सबकी नजरे मेनका गांधी पर लगी हैं।