By अभिनय आकाश | Dec 13, 2024
लोकसभा में कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी वाड्रा के पहले भाषण को उनके भाई, सदन में विपक्ष के नेता (एलओपी) राहुल गांधी के साथ-साथ पार्टी के अन्य नेताओं से जोरदार समर्थन मिला। प्रियंका के भाषण के बारे में पूछे जाने पर राहुल गांधी ने कहा कि उनकी बहन का पहला लोकसभा संबोधन एक नए सांसद के रूप में सदन में उनके पहले भाषण से बेहतर था। राहुल गांधी 2004 में पहली बार सांसद बने। गांधी ने लोकसभा के बाहर मीडियाकर्मियों से कहा कि अद्भुत भाषण। मेरे पहले भाषण से बेहतर। वायनाड से नवनिर्वाचित सांसद प्रियंका ने आज पहली बार राष्ट्रीय एकता, महिला सशक्तिकरण और भारत के संविधान की सुरक्षा की आवश्यकता पर केंद्रित संदेश के साथ सदन को संबोधित किया।
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने प्रधानमंत्री मोदी तथा सरकार पर तीखा प्रहार किया और दावा किया कि यदि लोकसभा चुनाव के नतीजे इस तरह के नहीं होते तो यह सरकार संविधान बदलने का काम करती। उन्होंने लोकसभा में भारत के संविधान की 75 वर्षों की गौरवशाली यात्रा पर चर्चा में भाग लेते हुए सरकार पर भय फैलाने का आरोप लगाया और कटाक्ष करते हुए कहा कि शायद प्रधानमंत्री यह समझ नहीं पाए हैं कि संविधान संघ का विधान नहीं है। उन्होंने दावा कि भारत लंबे समय तक ‘‘कायरों के हाथ में कभी नहीं रहा और यह देश उठेगा और लड़ेगा। उन्होंने कहा कि संविधान में सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक न्याय का वादा है। यह वादा एक सुरक्षा कवच है, जिसे तोड़ने का काम शुरू हो चुका है।
उन्होंने दावा किया रि यह सरकार लेटरल एंट्री और निजीकरण के जरिए आरक्षण को कमजोर करने का काम कर रही है। अगर लोकसभा चुनाव में ये नतीजे नहीं आए होते तो यह संविधान बदलने का काम करती। कांग्रेस नेता ने कहा कि आज सत्तापक्ष बार-बार संविधान इसलिए कह रहा है, क्योंकि इस चुनाव में हारते-हारते जीनने के बाद उन्हें पता चल गया कि देश की जनता ही संविधान को सुरक्षित रखेगी और संविधान बदलने की बात इस देश में नहीं चलेगी। प्रियंका गांधी का कहना था कि आज जाति जनगणना का जिक्र सत्तापक्ष कर रहा है क्योंकि इस तरह के नतीजे आए। कांग्रेस सांसद का इशारा इस ओर था कि कुछ महीने पहले संपन्न लोकसभा चुनाव में भाजपा बहुमत से दूर रह गई और कांग्रेस की सीटों की संख्या 100 के करीब पहुंच गई।