By अभिनय आकाश | Nov 23, 2024
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के लिए वोटों की गिनती सुबह 8 बजे से शुरू हो गई। सभी की निगाहें सत्तारूढ़ महायुति और सत्ता में वापसी की कोशिश में जुटे महाविकास अघाड़ी के बीच मुकाबले पर टिकी है। रुझानों में एमवीए आगे चल रही थी, हालांकि बाद में लगातार महायुति ने भारी बड़त बनाए रखी है। ईवीएम की काउंटिंग में महायुति लगातार आगे चल रही है। चुनाव आयोग के आकंड़े देखें तो महायुति ने लगभग 10 बजे बहुमत का आंकड़ा पार कर लिया। लगाता महायुति आगे चल रही है। बीजेपी को सबसे ज्यादा सीटों पर जीत मिलने की उम्मीद है। बीजेपी अकेले शतक लगाती नजर आ रही है। ऐसा महाराष्ट्र की राजनीति में तीसरी बार हो रहा है जब बीजेपी को जनता की तरफ से सबसे बड़ी पार्टी के रूप में लोगों ने स्वीकारा है। 2014 में जीत और 2019 में भी मिले मैंडेट के बाद अब 2024 में इसे जीत की हैट्रिक के रूप में देखा जा रहा है।
सत्ता का हिस्सा नहीं बनना बल्कि सत्ता का रिमोट अपने हाथों में रखना
बीजेपी शिवसेना ने 2014 का लोकसभा चुनाव मिलकर लड़ा और महाराष्ट्र की कुल 48 सीटों में से 41 सीटें अपने नाम कर ली। जिसमें से 23 सीटें बीजेपी ने और 18 सीटें शिवसेना के खाते में आई। लेकिन असली परीक्षा विधानसभा चुनावों में होनी थी। उद्धव ठाकरे पिता बाल ठाकरे की सीख को भूल गए कि बाल ठाकरे कहते थे कि सत्ता का हिस्सा नहीं बनना बल्कि सत्ता का रिमोट अपने हाथों में रखना है। लेकिन उद्धव ने खुद को मुख्यमंत्री का दावेदार पेश करना शुरु कर दिया। सीटों के बंटवारे को लेकर 25 साल पुराना बीजेपी शिवसेना गठबंधन टूट गया। शिवसेना ने बीजेपी पर जमकर प्रहार किए और नरेंद्र मोदी की तुलना अफजल खान तक से कर दी। लेकिन बीजेपी ने शिवसेना के खिलाफ एक शब्द नहीं बोला।
2019 में महाराष्ट्र की राजनीति में हुआ नया प्रयोग
2019 के वोटिंग प्रतिशत में 2014 की तुलना में करीब दो प्रतिशत की गिरावट आई थी। कुछ मतदान प्रतिशत 61.44 था। बीजेपी को 17 सीटों का नुकसान झेलना पड़ा था। फिर भी वो अकेली पार्टी रही जिसने 105 सीटें जीती थी। अविभाजित उद्धव ठाकरे की शिवसेना को 56 सीटें हासिल हुई थी। उसे सात सीटों का नुकसान हुआ था। यूपीए में कांग्रेस ने दो सीटों के फायदे के साथ 44 सीटें जीती और एनसीपी के काते में 13 सीटों का फायदा हुआ। एनसीपी को 54 सीटें मिली। एक सीट राज ठाकरे की मनसे और दो सीट ओवैसी की एआईएमआईएम ने हासिल की थी। उद्धव ठाकरे ने मुख्यमंत्री पद के लिए बीजेपी से 25 साल पुराना नाता तोड़ लिया। महाराष्ट्र की राजनीति में एक नए प्रयोग ने आकार लिया। शिवसेना ने सत्ता के लिए कांग्रेस और एनसीपी जैसे दलों के साथ हाथ मिलाया। ढाई साल तक सरकार भी चलाया। एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में पार्टी विधायकों की बग़ावत के बाद उद्धव को इस्तीफा देना पड़ा।
महाराष्ट्र में बीजेपी का होगा सीएम?
महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि सीएम फेस पर अभी कुछ तय नहीं हुआ हहै। सभी दल मिलकर निर्णय लेंगे। फडणवीस महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री रह चुके हैं। 10 साल से महाराष्ट्र की सत्ता के सूत्रधार हैं। वो बीजेपी के लोकप्रिय चेहरा हैं। फडणवीस, महराष्ट्र बीजेपी के रिजल्ट देने वाले नेता के रूप में जाने जाते हैं। महाराष्ट्र में राज्यसभा से लेकर विधानपरिषद में पार्टी की जीत। इसके अलावा राज्य में एकनाथ शिंदे गुट के साथ मिलकर सरकार बनाना और एमवीए सरकार को अपदस्थ करना उनकी बड़ी उपलब्धियों में गिना गया। इसके अलावा फडणवीस गोवा के प्रभारी भी ते। यहां विधानसभा चुनाव में पार्टी ने बहुमत हासिल किया था।
दिग्गजों का क्या हाल है?
देवेंद्र फडणवीस आगे चल रहे
बारामती से अजित पवार आगे
एकनाथ शिंदे आगे चल रहे
आदित्य ठाकरे आगे चल रहे